लखनऊ से बड़ी राजनीतिक खबर सामने आई है। बहुजन समाज पार्टी के पूर्व कद्दावर नेता नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने एक बड़ा बयान देकर सियासी हलचल मचा दी है। उन्होंने कहा — “यह सिर्फ बसपा की रैली नहीं थी, बल्कि बीजेपी और बसपा दोनों की रैली थी।”
सिद्दीकी का यह बयान ऐसे समय पर आया है जब यूपी की राजनीति में गठजोड़, समीकरण और दलित वोट बैंक पर पकड़ को लेकर बयानबाज़ी तेज़ है।
नसीमुद्दीन सिद्दीकी, जो कभी बसपा सुप्रीमो मायावती के सबसे भरोसेमंद नेताओं में गिने जाते थे, अब सीधे तौर पर बसपा की राजनीति और मौजूदा रुख पर सवाल उठा रहे हैं।
राजनीतिक विश्लेषकों का कहना है कि सिद्दीकी का यह बयान आने वाले दिनों में यूपी की सियासत में नए संकेत दे सकता है।
हालांकि बसपा की ओर से इस पर कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं दी गई है, लेकिन विपक्षी दलों में इस बयान को लेकर चर्चाओं का दौर जारी है।
